अध्याय 11 घातांक और घात
11.1 भूमिका
क्या आप जानते हैं कि पृथ्वी का द्रव्यमान (mass) क्या है? यह
क्या आप इस संख्या को पढ़ सकते हैं?
यूरेनस ग्रह (Uranus) का द्रव्यमान
किसका द्रव्यमान अधिक है-पृथ्वी या यूरेनस ग्रह?
सूर्य (Sun) और शनि (Saturn) के बीच की दूरी
ऐसी बहुत बड़ी संख्याओं का पढ़ना, समझना और इनकी तुलना करना कठिन होता है। इन संख्याओं को सरलता से पढ़ने, समझने और इनकी तुलना करने के लिए, हम घातांकों (exponents) का प्रयोग करते हैं। इस अध्याय में, हम घातांकों के बारे में सीखेंगे तथा यह भी सीखेंगे कि इनका प्रयोग किस प्रकार किया जाता है।
11.2 घातांक
हम बड़ी संख्याओं को घातांकों का प्रयोग करके संक्षिप्त रूप में लिख सकते हैं। निम्नलिखित को देखिए :
संक्षिप्त संकेतन
हम इसी प्रकार
यहाँ, पुन:
इसी प्रकार,
अर्थात्,
इन दोनों उदाहरणों में, आधार
हम संख्याओं को विस्तारित या प्रसारित रूप (expanded form) में लिखने के लिए
उदाहरणार्थ,
इसे
निम्नलिखित संख्याओं को इसी प्रकार लिखने का प्रयत्न कीजिए :
उपरोक्त सभी उदाहरणों में, हमने वे संख्याएँ देखी हैं जिनके आधार
कुछ घातों के विशिष्ट नाम हैं। उदाहरणार्थ :
अतः हम कह सकते हैं कि
इसी प्रकार
इसी विधि के अनुसार,
प्रयास कीजिए
ऐसे पाँच और उदाहरण दीजिए, जहाँ एक संख्या को घातांकीय रूप में व्यक्त किया जाता है। प्रत्येक स्थिति में, घातांक व आधार की पहचान भी कीजिए।
आप संक्षिप्त रूप में लिखने की इस विधि को तब भी लागू कर सकते हैं, जब आधार एक ॠणात्मक पूर्णांक हो।
यह
क्या
कोई निश्चित संख्या लेने के स्थान पर, आइए किसी भी संख्या
इत्यादि।
प्रयास कीजिए
व्यक्त कीजिए :
(i) 729 को 3 की घात के रूप में
(ii) 128 को 2 की घात के रूप में
(iii) 343 को 7 की घात के रूप में
उदाहरण 1 256 को 2 की घात के रूप में व्यक्त कीजिए।
हल हमें प्राप्त है
अतः हम कह सकते हैं कि
उदाहरण 2
हल हमें प्राप्त है कि
चूँकि
उदाहरण 3
हल
उदाहरण 4
हल
ध्यान दीजिए कि पद
इसके विपरीत,
इस प्रकार,
इसी प्रकार
उदाहरण 5 निम्नलिखित संख्याओं को अभाज्य गुणनखंडों की घातों के गुणनफल के रूप में व्यक्त कीजिए :
(i) 72
(ii) 432
(iii) 1000
(iv) 16000

हल (i)
इस प्रकार
(ii)
या
(iii)
या
अतुल इस उदाहरण को निम्नलिखित विधि से हल करना चाहता है :
क्या अतुल की विधि सही है?
(iv)
(चूँकि
या,
उदाहरण 6 निम्नलिखित के मान ज्ञात कीजिए।
हल (i) हमें प्राप्त है,
वास्तव में, 1 की कोई भी घात 1 के बराबर होती है।
(ii)
(iii)
आप इसकी जाँच कर सकते हैं कि
घात
(iv)
(v)
प्रश्नावली 11.1
1. निम्नलिखित के मान ज्ञात कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
2. निम्नलिखित को घातांकीय रूप में व्यक्त कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
(vi)
3. निम्नलिखित संख्याओं में से प्रत्येक को घातांकीय संकेतन में व्यक्त कीजिए :
(i) 512
(ii) 343
(iii) 729
(iv) 3125
4. निम्नलिखित में से प्रत्येक भाग में, जहाँ भी संभव हो, बड़ी संख्या को पहचानिए:
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
5. निम्नलिखित में से प्रत्येक को उनके अभाज्य गुणनखंडों की घातों के गुणनफल के रूप में व्यक्त कीजिए।
(i) 648
(ii) 405
(iii) 540
(iv) 3600
6. सरल कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
(vi)
(vii)
(viii)
7. सरल कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
8. निम्नलिखित संख्याओं की तुलना कीजिए :
(i)
(ii)
11.3 घातांकों के नियम
11.3.1 एक ही आधार वाली घातों का गुणन
(i) आइए
ध्यान दीजिए कि
(ii)
पुनः ध्यान दीजिए कि आधार एक ही है तथा घातांकों का योग
(iii)
(टिप्पणी: आधार एक ही है तथा घातांकों का योग
इसी प्रकार, सत्यापित कीजिए कि
तथा
प्रयास कीजिए
सरल करके घातांकीय रूप में लिखिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
(vi)
क्या आप बॉक्स में उपयुक्त संख्या लिख सकते हैं ?
(याद रखिए, आधार एक ही है,
यहाँ से हम व्यापक रूप से यह कह सकते हैं कि एक शून्येतर पूर्णांक
होता है, जहाँ
सावधानी!
क्या आप घातांकों को जोड़ सकते हैं? नहीं! क्या आप बता सकते हैं ‘क्यों’?
11.3.2 एक ही आधार वाली घातों का विभाजन
आइए
इस प्रकार,
[ध्यान दीजिए कि
इस प्रकार,
मान लीजिए कि
या
क्या अब आप तुरंत उत्तर दे सकते हैं?
शून्येतर पूर्णांक
व्यापक रूप में, किसी भी शून्येतर पूर्णांक
होता है, जहाँ
प्रयास कीजिए
सरल करके घातांकीय रूप में लिखिए: (उदाहरण के लिए,
) (i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
11.3.3 एक घात की घात लेना
निम्नलिखित पर विचार कीजिए :
अब,
अर्थात्
इसी प्रकार,
क्या आप बता सकते हैं कि
प्रयास कीजिए
सरल करके, उत्तर को घातांकीय रूप में व्यक्त कीजिए।
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
उपरोक्त से, हम व्यापक रूप से कह सकते हैं कि किसी शून्येतर पूर्णांक ’
होता है, जहाँ
उदाहरण 7 क्या आप बता सकते हैं कि
हल
परंतु
अत:,
11.3.4 समान घातांकों वाली घातों का गुणन
क्या आप
अब
देखिए
साथ ही, देखिए
इसी प्रकार
व्यापक रूप में, किसी भी शून्येतर पूर्णांक के लिए,
उदाहरण 8 निम्नलिखत पदों को घातांकीय रूप में व्यक्त कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
हल (i)
(ii)
(iii)
11.3.5 समान घातांकों वाली घातों से विभाजन
निम्नलिखित सरलीकरणों को देखिए :
(i)
(ii)
इन उदाहरणों से, हम कह सकते हैं कि व्यापक रूप में,
प्रयास कीजिए
का प्रयोग करके, अन्य रूप में बदलिए: (i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
उदाहरण 9 प्रसार कीजिए: (i)
हल
(i)
(ii)
क्या आप बता सकते हैं कि
घातांकों के नियमों का प्रयोग करते हुए,
अतः
क्या आप बता सकते हैं कि
साथ ही,
अत:
इसी प्रकार,
साथ ही
अत:,
अतः, हम कह सकते हैं कि किसी भी संख्या (शून्य के अतिरिक्त) पर घात (या घातांक) 0 का मान 1 होता है।
क्या है? निम्नलिखित पैटर्न को देखिए :
आप केवल पैटर्न देख कर ही
के मान का अनुमान लगा सकते हैं। आप देख सकते हैं कि है। यदि , से प्रारंभ करें, तो ऊपर दर्शाई विधि से इत्यादि ज्ञात करते हुए, क्या आप का मान बता सकते हैं?
11.4 घातांकों के नियमों का विविध उदाहरणों में प्रयोग
आइए ऊपर विकसित किए गए घातांकों के नियमों का प्रयोग करके, कुछ उदाहरण हल करें।
उदाहरण 10
हल ज्ञात है कि,
परंतु हम जानते हैं कि
अतः,
उदाहरण 11 सरल कीजिए और उत्तर को घातांकीय रूप में लिखिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
हल (i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
अत:,
उदाहरण 12 सरल कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
हल (i) यहाँ
(ii)
(ii)
टिप्पणी: इस अध्याय में, हमने अधिकांशतः ऐसे उदाहरण लिए हैं जिनमें आधार पूर्णांक हैं। परंतु इस अध्याय के सभी परिणाम उन स्थितियों के लिए भी सत्य हैं, जहाँ आधार परिमेय संख्याएँ हैं।
प्रश्नावली 11.2
1. घातांकों के नियमों का प्रयोग करते हुए, सरल कीजिए और उत्तर को घातांकीय रूप में लिखिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
(vi)
(vii)
(viii)
(ix)
(x)
2. निम्नलिखित में से प्रत्येक को सरल करके घातांकीय रूप में व्यक्त कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v)
(vi)
(vii)
(viii)
(ix)
(x)
(xi)
(xii)
3. बताइए कि निम्नलिखित कथन सत्य है या असत्य तथा अपने उत्तर का कारण भी दीजिए:
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
4. निम्नलिखित में से प्रत्येक को केवल अभाज्य गुणनखंडों की घातों के गुणनफल के रूप में व्यक्त कीजिए :
(i)
(ii) 270
(iii)
(iv) 768
5. सरल कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
11.5 दशमलव संख्या पद्धति
आइए
हम इसे
[ध्यान दीजिए :
आइए एक और संख्या को प्रसारित रूप में लिखें :
ध्यान दीजिए कि किस प्रकार
11.6 बड़ी संख्याओं को मानक रूप में व्यक्त करना
आइए, इस अध्याय की प्रारंभिक स्थिति पर वापस आ जाएँ। हमने कहा था कि बड़ी संख्याओं को, घातांकों का प्रयोग करके सुविधाजनक रूप से व्यक्त किया जा सकता है। इसे अभी तक हमने दिखाया नहीं है। अब हम ऐसा करेंगे।
1. सूर्य हमारी आकाशगंगा (Milky Way Galaxy) के केंद्र से
2. हमारी आकाशगंगा में
3. पृथ्वी का द्रव्यमान
ये संख्याएँ पढ़ने और लिखने की दृष्टि से सुविधाजनक नहीं हैं। इनक सुविधाजनक बनाने के लिए, हम घातों (या घातांकों) का प्रयोग करते हैं। निम्नलिखित को देखिए :
प्रयास कीजिए
की घातों का प्रयोग करते हुए, घातांकीय रूप में प्रसारित कीजिए : (i) 172
(ii) 5643
(iii) 56439
(iv) 176428
हमने इन सभी संख्याओं को मानक रूप (standard form) में व्यक्त कर दिया है। किसी भी संख्या को
ध्यान दीजिए कि 5985 को
अब हम इस अध्याय के प्रारंभ में आई हुई संख्याओं को इस मानक रूप में व्यक्त करने में सक्षम हो गए हैं।
हमारी आकाशगंगा के केंद्र से सूर्य की दूरी अर्थात्,
के रूप में लिखा जा सकता है। अब, क्या आप
अतः
क्या आप इस बात से सहमत हैं कि पढ़ने, समझने और तुलना करने की दृष्टि से मानक रूप में लिखी यह संख्या उस 25 अंकों की संख्या की अपेक्षा बहुत अधिक सरल या सुविधाजनक है?
अब, यूरेनस ग्रह का द्रव्यमान
अब, उपरोक्त दोनों व्यंजकों में केवल 10 की घातों की तुलना करके ही, आप यह कह सकते हैं कि यूरेनस ग्रह का द्रव्यमान पृथ्वी से अधिक है।
सूर्य और शनि के बीच की दूरी
क्या आप बता सकते हैं कि इन तीनों दूरियों में कौन-सी दूरी न्यूनतम है?
उदाहरण 13 निम्नलिखित संख्याओं को मानक रूप में व्यक्त कीजिए :
(i) 5985.3
(ii) 65950
(iii)
(iv)
हल (i)
(ii)
(iii)
(iv)
यहाँ ध्यान रखने योग्य बात यह है कि दशमलव बिंदु से बाईं ओर के (अंकों की संख्या) गिनकर, उसमें से
प्रश्नावली 11.3
1. निम्नलिखित संख्याओं को प्रसारित रूप में लिखिए :
279404, 3006194, 2806196, 120719, 20068
2. निम्नलिखित प्रसारित रूपों में से प्रत्येक के लिए संख्या ज्ञात कीजिए :
(a)
(b)
(c)
(d)
3. निम्नलिखित संख्याओं को मानक रूप में व्यक्त कीजिए :
(i)
(ii)
(iii)
(iv)
(v) 39087.8
(vi) 3908.78
4. निम्नलिखित कथनों में प्रकट होने वाली (आने वाली) संख्याओं को मानक रूप में व्यक्त कीजिए।
(a) पृथ्वी और चंद्रमा के बीच की दूरी
(b) निर्वात स्थान में प्रकाश की चाल (या वेग)
(c) पृथ्वी का व्यास
(d) सूर्य का व्यास
(e) एक आकाशगंगा में औसतन
(f) विश्व मंडल (या सौर मंडल)
(g) आकाशगंगा के मध्य से सूर्य की दूरी
(h)
(i) पृथ्वी में
(j) मार्च 2001 में भारत की जनसंख्या
हमने क्या चर्चा की?
1. बहुत बड़ी संख्याएँ पढ़ने, समझने, तुलना करने और उन पर संक्रियाएँ करने की दृष्टि से कठिन होती हैं। इनको सरल बनाने के लिए, हम इन अधिकांश बड़ी संख्याओं को घातांकों का प्रयोग करके संक्षिप्त रूप में लिखते हैं।
2. कुछ संख्याओं के घातांकीय रूप निम्नलिखित हैं :
यहाँ, 10,3 और 2 आधार हैं तथा 4,5 और 7 क्रमशः इनके घातांक हैं। हम यह भी कहते हैं कि 10 की चौथी घात 10000 है, 3 की पाँचवीं घात 243 है, इत्यादि।
3. घातांकीय रूप में संख्याएँ कुछ नियमों का पालन करती हैं, जो इस प्रकार हैं : किन्हीं शून्येतर पूर्णांकों
(a)
(b)
(c)
(d)
(e)
(f)
(g)